एक नवजात शिशु को झाड़ियों में फेंक दिया गया , गैरों ने लगाया गले

उदयपुर  : माँ मुझे पेट में जिन्दा रखने के बाद झाड़ियों में क्यों मरने के लिए फेंक दिया . फेंकते समय तुम्हारा हाथ क्यों नहीं कांप रहा था . ये सवाल नवजात शिशु अपनी बेरहम माँ से कर रहा हो .

उसे बचाने के लिए और नई जिंदगी देने के लिए लोग लगातार प्रयास कर रहे है . सुचना मिलते मि मौके पर पहुंची पुलिस ने उस नवजात को महिला अस्पताल के एसएनआईसीयू में भर्ती कराया गया है .

कैसी है ये बेरहम माँ जो अपने ही बच्चे को नौ माह तक पेट में जिंदा रखने के बाद उसे फेंक दिया . उस बेरहम मां को तो पूरा जमाना कोसता नजर आया है । उदयपुर थाना क्षेत्र के नसीरपुर पूरे पंडित में बुधवार को एक बेरहम मां की करतूत से हर किसी का कलेजा कांप उठा .

लोकलाज के भय से किसी बेरहम मां ने बुधवार को सुनसान स्थान पर नीम के पेड़ के नीचे झांड़ियों में नवजात बच्चे को फेंककर भाग गई। नवजात बच्चे के रोने की आवाज सुनकर ग्रामीण पहुंचे। लोगों ने देखा तो झाड़ियों में नवजात बच्चा पड़ा था।

उसे बाहर निकाला। ऐसा लग रहा था उसे कुछ देर पहले ही फेंका गया था। नवजात गांव के दंपति रमेश सोनकर व सत्यवती देवी ने अपना लिया। जो की गांव में फुलवारी की देखभाल करते है . उन लोगो ने उस बच्चे की देख रेख का जिम्मा लिया है .