मासूम बच्चो की ‘हां ‘ बनी उनकी मौत की वजह

JUDWA BACCHE 0

 यूपी के चित्रकूट धाम (कर्वी) निवासी तेल कारोबारी बृजेश रावत के 5 साल के जुड़वां बच्चों श्रेयांश और प्रियांश का अपहरण के बाद जब लोगो को उनकी मौत के बारे में पता चला तो ऐसा कोई भी नहीं था जिसकी आँखों में आंशू न आये हो।

मध्य प्रदेश : सतना जिले के चित्रकूट में सद्गुरु पब्लिक स्कूल की बस से लौटते समय 12 फरवरी को तेल कारोबारी ब्रजेश रावत के दो मासूम बच्चों का हथियारबंद बदमाशों ने अपहरण कर लिया था । दोनों ने भगवा रंग के कपड़े से मुंह छुपा रखा था। बच्चों के अपहरण के बाद लोग सड़कों पर उतरे और आरोपियों को गिरफ्तार करने की मांग करने लगे । दोनों बच्चों के शव रविवार को उत्तर प्रदेश के बांदा जिले में यमुना नदी से बरामद किए गए थे। इस मामले में सभी 6 आरोपी गिरफ्तार किए जा चुके हैं। जिनमें से अधिकतर दक्षिणपंथी संगठनों से जुड़े बताए जा रहे हैं।

रीवा जोन के आईजी चंचल शेखर ने बताया, ‘ किडनैपर्स ने पहले बच्चों के आरोपी लकी के चित्रकूट स्थित किराये के घर दो दिन के लिए रखा था। यह किराये का कमरा एक सुनसान जगह पर था और आरोपी खुद को बाहर से बंद रखते थे ताकि किसी को यहां छिपे होने का संदेह न हो। बाद में वे जुड़वा भाइयों को यूपी के बांदा के अटर्रा में एक दूसरे किराये के घर में ले गए थे, जहां उन्होंने हत्या से पहले तक बच्चों को छिपाए रखा था।’ आईजी ने यह भी बताया कि गैंग के सदस्य काफी होशियार थे। फिरौती मांगने के लिए अपने सेलफोन का इस्तेमाल नहीं करते थे बल्कि अजनबियों और राहगीरों से अर्जेंट कॉल की बात कहकर फोन मांग थे और तब कॉल करते थे। आईजी ने बताया कि टेक सेवी इंजिनियरिंग स्टूडेंट स्पूफिंग ऐप के जरिए नंबर छिपाते थे। इस तरह वह साइबर पुलिस से एक कदम आगे की योजना बनाकर खुद को बचाने में कामयाब रहे थे। पुलिस के अनुसार, आरोपियों को डर था कि बच्चों ने उन्हें पहचान लिया है और बच्चे राज खोल देंगे, जिससे उनकी गिरफ्तारी तय है। पुलिस ने बताया था कि 20 लाख रुपये मिलने के बाद आरोपी बच्चों को छोड़ने का मन बना रहे थे लेकिन छोड़ने से पहले उन्होंने बच्चों से सवाल किया कि पुलिस पूछेगी तो क्या वह उन्हें पहचान लेंगे। तो इस पर बच्चों ने मासूमियत से हां में जवाब दे दिया और इसलिए आरोपियों ने दोनों बच्चों के पीठ पर पत्थर बांधने के साथ हाथ-पैर भी लोहे की जंजीरों से बांध दिए और नदी में फेंक दिया। आरोपियों ने पुलिस को यह भी बताया कि उन्होंने विडियो गेम के जरिए बच्चों को कब्जे में रखा और बच्चे उनसे फ्रेंडली भी हो गए थे।

यूपी के चित्रकूट धाम (कर्वी) निवासी तेल कारोबारी बृजेश रावत के 5 साल के जुड़वां बच्चों का 12 फरवरी को अपहरण हुआ था। बाइक सवार दो नकाबपोश बदमाश मध्य प्रदेश स्थित सद्‌गुरु सेवा ट्रस्ट के स्कूल से दोनों को असलहे के दम पर उठा ले गए थे। आरोपियों के पास से फिरौती के 17.67 लाख रुपये, असलहे, बाइक और बोलेरो मिली है।

कब क्या हुआ – 

12  फरवरी- यूपी के चित्रकूट धाम (कर्वी) निवासी तेल कारोबारी बृजेश रावत के 5 साल के जुड़वां बच्चों श्रेयांश और प्रियांश का अपहरण           हुआ। बाइक सवार दो नकाबपोश बदमाश मध्य प्रदेश स्थित सद्‌गुरु सेवा ट्रस्ट के स्कूल से दोनों को असलहे के दम पर उठा ले गए थे।
13 फरवरी- आरोपियों ने बच्चों के पिता को फिरौती के लिए कॉल की।
12- 14 फरवरी- आरोपियों ने दो दिन तक बच्चों को चित्रकूट में एक आरोपी के घर में रखा। यह जगह अपहरण वाले स्थान से 2 किलोमीटर दूर        थी।
15 फरवरी- यूपी के बांदा जिले स्थित एक किराये के घर पर लाकर बच्चों को बंद कर दिया।
19 फरवरी- आरोपियों ने बच्चों की उनके पिता से बात कराई और फिरौती में 20 लाख रुपये लिए।
21 फरवरी- आरोपियों ने बच्चों के हाथ-पैर जंजीर से बांधकर बांदा में यमुना नदी के उगासी घाट पर फेंक दिया था।
23 फरवरी- जुड़वा बच्चों की लाशें बरामद हुईं। सभी 6 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया।