राजनीतिक संरक्षण तलाश रहे थे राजकुंद्रा : मयंक मधुर ,

डेस्क रीडर टाइम्स न्यूज़
गृह मंत्रालय और पीएमओ के गलियारों में गहरी पैठ रखने वाले मयंक मधुर ने की पुष्टि , राजना‍थ सिंह के करीबी हैं मयंक।
कंगना रनौत को मयंक ने वाई सिक्‍योरिटी दिलवाई थी ,‘तेजस’ फ़िल्म का भी रक्षा मंत्रालय से कोऑर्निनेट करवा रहे मयंक।
मयंक मधुर ने भी ऐप की डिटेल्‍स मंगवाई थी , मगर राज कुंद्रा तय समय तक नहीं दे सके थे तो मीटिंग नहीं हो पाई थी।
होम मिनिस्‍ट्री की तरफ से भी राज कुंद्रा को कॉल गई थी, पर नेटवर्क मसले के चलते डिटेल में बातचीत नहीं हो सकी थी।

अश्‍लील फिल्‍में बनाने और ऐप के माध्‍यम से पैसे कमाने के आरोपों से घिरे राज कुंद्रा के बारे सनसनीखेज जानकारी सामने आई है। वह यह कि उन्‍होंने पिछले महीने 28 जून को होम मिनिस्‍टर और तब के तत्‍कालीन आईटी मिनिस्‍टर रविशंकर प्रसाद से मीटिंग और बातचीत करने की कोशिश की थी। उसका मुद्दा अपने एक ‘एंटरटेनमेंट ऐप’ को अतिरिक्‍त संरक्षण दिलवाना था। वह मीटिंग हालांकि हो नहीं पाई। गृह मंत्रालय और पीएमओ में गहरी पकड़ रखने वाले मयंक मधुर ने इसकी पुष्टि की है। मधुर राजनाथ सिंह के भी काफी करीबी हैं। कंगना रनौत को वाई सिक्‍योंरिटी मधुर ने दिलाई थी। मधुर ने यह जरूर स्‍पष्‍ट किया कि राज कुंद्रा ने उस ऐप के बारे वैरिफाई नहीं किया कि यह वही ऐप है, जिनके चलते राज विवादों में हैं।

मधुर ने बातचीत में कहा,’ राज कुंद्रा और शिल्‍पा शेट्टी ने अपने एक एंटरटेनमेंट ऐप को अतिरिक्‍त प्रोटेक्‍शन दिलाना चाहते थे। इसकी खातिर राज कुंद्रा ने मेरे माध्‍यम से गृह मंत्रालय में बात करने की कोशिश की थी। रविशंकर प्रसाद से भी मिलने का प्रयास किया था, पर रविशंकर समय नहीं दे सके थे। डिजिटल इंडिया के गलियारों में भी बातचीत होनी थी, पर हो न सकी। गृह मंत्री के साथ एक बार चंद ही लम्‍हे के लिए टेलीफोन पर बातचीत हुई कि फोन सिग्‍नल की दिक्‍कतों के चलते बातचीत अधूरी रह गई। बाद में गृह मंत्रालय से भी राज कुंद्रा को कनेक्‍ट करने की कोशिश की गई , मगर राज कुंद्रा का फोन कहीं और व्‍यस्‍त रहने के चलते कनेक्ट नहीं हो पाया। राज ने फिर कॉल बै‍क किया , मगर तब खुद गृह मंत्री बिजी रहे तो बातचीत का सिलसिला आगे नहीं बढ़ पाया।

मधुर आगे बताते हैं कि ,’राज ने मुझसे पहले कई अलग – अलग माध्यम से मनोज तिवारी के जरिए भी गृह मंत्री और आईटी मिनिस्‍टर से संपर्क साधने की कोशिश की थी , मगर मनोज तिवारी के तरफ से कोई रिस्पॉन्स नही दिया गया था। फिर राज कुंद्रा ने अपने एक परिचित के जरिए मुझसे संपर्क किया था। मैंने उनसे उस एंटरटेनमेंट ऐप की डिटेल ईमेल पर मांगी, पर वह हमें मुहैया नहीं हो सका। लिहाजा उसके बाद मैंने मीटिंग का लाइन ऐप कैंसिल कर दिया।