राम मंदिर निर्माण कार्य की तेजी से : जल्द ही बदल जाएगी अयोध्या की तस्वीर ,

डेस्क रीडर टाइम्स न्यूज़
राम मंदिर का निर्माण कार्य बहुत तेजी से चल रहा हैं। मंदिर निर्माण कार्य लगभग 35 से 10 प्रतिशत पूरा भी हो चूका हैं। और वही अगले साल दिसंबर 2023 तक राम मंदिर का गर्भगृह भगवान् के भक्तो के लिए मंदिर खोलने की तैयारी जोरो से चल रही हैं। राम मंदिर निर्माण के साथ -साथ नई अयोध्या का निर्माण भी जरुरी हैं। क्योकि मंदिर बनने के बाद बड़ी संख्या में श्रद्धालु अयोध्या पहुंचेगे इसलिए उत्तर प्रदेश की सरकार ने राम मंदिर निर्माण के साथ -साथ नई अयोध्या तैयार करने का भी योजना तैयार कर लिया हैं। जिस काम हो रहा हैं।

अयोध्या विज़न डॉक्यूमेंट:
लगभग 200 बड़ी योजनाओं पर काम चल रहा है. जिससे पूरे तेज अयोध्या की तस्वीर बदल जाएगी. यह एक दीर्घकालीन व्यवस्था होगी. सबसे पहले अयोध्या की 3 प्रमुख सड़कों को अगले एक साल में तैयार करने का लक्ष्य रखा गया है. यह तीनों रोड अयोध्या की पहचान हैं. हाल ही में यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने अयोध्या पर समीक्षा बैठक की जिसमें यह आदेश दिए गए थे कि अयोध्या कॉरिडोर के यह तीन पथ जल्द से जल्द तैयार हो जाने चाहिए.

राम पथ का निर्माण:
दरअसल अयोध्या कॉरिडोर में पहला पथ पुराने फैजाबाद के सहादतगंज से लेकर सरयू किनारे नया घाट तक है, जो कि लगभग 13KM लंबा है. इसे राम पथ के नाम से जाना जाएगा. आप इस पथ का महत्व इस बात से भी समझ सकते हैं कि इसी के किनारे पूरी अयोध्या बसी हुई है. इसी सड़क के दोनों तरफ़ मंदिर, मठ, आश्रम, अयोध्या रेलवे स्टेशन, बिड़ला धर्मशाला, दुकानें, स्मारक और कुंड सब कुछ है. हालांकि इस पथ को 2023 तक पूरा कर पाना भी एक चुनौती है, क्योंकि यहां 4 लेन का रास्ता बनाए जाने का प्रस्ताव है.

बदल जाएगी तस्वीर:
दूसरा पथ सुग्रीव किला से श्री राम जन्मभूमि तक है. यह 2 से 2.5 किलोमीटर लंबा रास्ता होगा. यह अयोध्या की गलियों और प्राचीन अयोध्या के अनुभवों से जुड़ा पथ है. इसे भी दिसंबर 2023 तक पूरा करने की तैयारी है. वहीं श्रृंगार हाट से श्रीराम जन्मभूमि तक भक्ति पथ भी मई 2023 तक पूरा करने का टार्गेट है. इन तीनों पथ के तैयार हो जाने के बाद आपको अयोध्या बदली बदली सी नजर आएगी क्योंकि सड़कें चौड़ी हो जाएंगी और बुनियादी सुविधाओं से ये तीनों पथ लैस होंगे.

अयोध्या के 8 कुंडों का कायाकल्प:
अयोध्या की पहचान यहां के कुंडों से भी है जिसका इतिहास त्रेतायुग से जुड़ा है. रामायण काल की परंपराओं से अयोध्या के सभी कुंडों का सीधा कनेक्शन है. इस मुहिम में अयोध्या के 8 कुंडों का भी कायाकल्प अगले एक साल में हो जाएगा. खास बात यह है कि इन कुंडों में जल का शुद्धीकरण वैदिक विधि से कराया जाएगा. यानी कुंडों के जल को स्वच्छ और निर्मल बनाने की तैयारी है.

नई अयोध्या और सोलर टाउनशिप:
यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने एक हाईलेवल मीटिंग में निर्देश दिए हैं कि अयोध्या को एक सोलर सिटी के रूप में विकसित किया जाए. सोलर सिटी की कार्ययोजना जल्द तैयार करने के निर्देश दिए हैं. दरअसल अयोध्या में एक नई टाउनशिप भी बननी है और एक नई अयोध्या भी अलग से बनाई जा रही है.

इंटरनेशनल एयरपोर्ट और वर्ल्ड क्लास स्टेशन:
अयोध्या का आधुनिक रेलवे स्टेशन भी जल्द बनकर तैयार होने वाला है, इसका मॉडल कुछ राम मंदिर जैसा दिखाई देगा. वहीं अयोध्या में मर्यादा पुरूषोत्तम श्रीराम इंटरनेशनल एयरपोर्ट का निर्माण कार्य भी तेज़ी से चल रहा है. दरअसल राम मंदिर के निर्माण कार्य के साथ अयोध्या को देश-दुनिया से सीधे कनेक्ट करना भी सबसे अहम है.

अयोध्या, बीजेपी के एजेंडे में सबसे प्रमुख स्थान पर रही है. सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद पीएम नरेन्द्र मोदी ने 5 अगस्त , 2020 को राम मंदिर का भूमि पूजन किया था. अयोध्या में राम मंदिर निर्माण और अयोध्या के विकास दोनों को लेकर पीएम मोदी भी समय – समय पर समीक्षा करते रहते हैं. पीएम मोदी खुद समय – समय पर अहम सुझाव देते रहते हैं. वहीं यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी लगातार अयोध्या के दौरे कर विकास कार्यों की समीक्षा करते रहते हैं, ताकि राम मंदिर के साथ साथ अयोध्या के विकास कार्य भी समय पर पूरे हो सकें.