किसान विरोधियों से यूपी के किसान आगामी विधानसभा चुनाव में करेंगे हिसाब

मोहम्मद शब्बीर
रीडर टाइम्स न्यूज़
विकासखंड निंदूरा के ग्राम राजापुर के तेजतर्रार नेता गरीब किसान का आवाज उठाने वाले भारतीय किसान श्रमिक जनशक्ति यूनियन के प्रदेश अध्यक्ष उत्तर प्रदेश कमलेश यादव ने समस्त किसान भाइयों से आवाहन किया आगामी विधानसभा चुनाव में हिसाब चुकता किया जाएगा उनका कहना है कि पिछले 9 महीने से दिल्ली के दरवाजे पर बैठे किसान की अनदेखी करने वालों पर अब वोट की चोट करने का समय आ गया इसके लिए किसान संगठन हर जिला व तहसील ब्लाक में बैठक कर व्यापक रणनीति तैयार करेंगे बैठक में होने वाले निर्णय के अनुरूप ही आगे उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड को आंदोलन को धार दी जाएगी कमलेश यादव कहना है कि किसान पीछे हटने वाले नहीं तथा अपना हक लेकर ही वापस जाएंगे यादव ने कहा कि किसान हितैषी बनने का सॉन्ग करने वालों की हकीकत इन 9 माह में सबके सामने आ चुकी सरकार बातचीत के नाम पर केवल खानापूर्ति कर रही है।

कृषि मंत्री बातचीत का न्योता तो देते हैं पर किसानों के बिंदुओं पर पीछे हटने की बात को खारिज भी कर देते हैं सरकार की मंशा किसान को गुलाम और कर्जदार बनाने की लगती है यादव ने कहा जब किसान इन कानूनों को नहीं चाहता तो सरकार किसानों के हितों के नाम पर उन्हें अन्नदाता के ऊपर क्यों जबरन थोप रही है इसके पीछे की असल मनसा भी सबके सामने आ रही है निजीकरण के नाम पर उद्योगपतियों को लाभ पहुंचाने की राजनीतिक दलों की नीति ने किसानों का नुकसान किया उन्होंने पूछा कि देश में अभी तक जितने कॉरीडोर अथवा एक्सप्रेस वे बने हैं उनके किनारों पर किसानों के लिए क्या विकास कार्य हुए हैं।

सरकार के पास कुछ भी आंकड़े हैं तो उन्हें सर्वजनिक क्यों नहीं करती सरकार के किसानों की आमदनी को 2022 तक दोगुना करने के दावे को कागजी बताते हुए उन्होंने कहा कि फसल बीमा योजना भी पूरी तरह फेल है यह नए मंडी कानूनों की फोटो कॉपी है जो किसानों के नाम पर केवल उद्योगपतियों के हितों के लिए चलाई जा रही है किसानों के नाम पर ऐसा प्रचार हो रहा है जैसे किसान की दुनिया ही बदल गई हो पर हकीकत इसके विपरीत है किसान आज भी खेती की लागत तक निकालने के लिए तरस रहा है और कर्ज़ मे फसा हुआ भुखमरी की कगार पर खड़ा है।