पसमांदा सम्मेलन से नरेंद्र मोदी को “भारत रत्न” देने की आवाज उठनी चाहिए – सरदार पतविंदर सिंह 

रिपोर्ट बृजेश कुमार अग्रहरि
रीडर टाइम्स न्यूज
– देश की मुस्लिम आबादी में एक बड़ा हिस्सा करीब 90%पसमांदा यानी पिछड़े मुसलमानों का है 
नैनी प्रयागराज / उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में होने वाले अल्पसंख्यक पसमांदा मुस्लिम समाज का सम्मेलन बीते दिनों भाजपा की राष्ट्रीय  कार्यकारिणी में प्रधानमंत्री ने अल्पसंख्यक के पिछड़े तबकों और विशेष रूप से पसमांदा मुसलमानों के बीच पार्टी की पैठ बनाने पर जोर दिया था उसी आह्वान का प्रतिफल है जो पसमांदा समाज बड़ी तादात पर भाजपा की राष्ट्रवादी विचारधारा से जुड़कर राष्ट्र को मजबूत कर रहा है . कमजोर गरीब व वंचित वर्ग की तरह पसमांदा मुसलमानों को भी विभिन्न जनकल्याणकारी सरकारी योजनाओं का लाभ नि:शुल्क राशन , रसोई गैस सिलेंडर , आवास , आयुष्मान भारत शौचालय संबंधित सभी योजनाओं का लाभ मिला है . देश की मुस्लिम आबादी में एक बड़ा हिस्सा करीब 90% पसमांदा यानी पिछड़े मुसलमानों का है . पसमांदा यानी वे लोग जो पिछड़ गए हैं सरकार मुस्लिम समाज के वंचित तबके के हितों की रक्षा के लिए प्रतिबंध है . अब जबकि प्रधानमंत्री ने पसमांदा मुसलमानों की ओर हाथ बढ़ाया है . जो काबिलियत तारीफ है . तो फिर पसमांदा समाज के लिए भी आवश्यक हो जाता है . कि वह भी अपना हाथ बढ़ाएं योजनाओं के लाभार्थियों में एक बड़ी संख्या मुसलमानों की है . इन योजनाओं में पसमांदा मुसलमान इसलिए अधिक लाभान्वित हुआ है . क्योंकि वह गरीब है . भारतीय जनता पार्टी अल्पसंख्यक मोर्चा काशी क्षेत्र , क्षेत्रीय उपाध्यक्ष सरदार पतविंदर सिंह ने कहा कि पसमांदा सम्मेलन से एक आवाज उठनी चाहिए कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को देश का सर्वोच्च नागरिक सम्मान भारत रत्न दिया जाए .