छह महीने पहले अवैध बिल्डिंग का कुछ हिस्सा तोड़ा भी गया था : पर अब आज चलेगा बुलडोजर ,

डेस्क रीडर टाइम्स न्यूज़
एलडीए इंजीनियर आंखें बंद किए रहे और प्राग नारायण रोड स्थित नजूल की जमीन पर यजदान बिल्डर ने छह मंजिला अपार्टमेंट खड़ा कर लिया। बिल्डिंग अवैध घोषित हुए भी लंबा वक्त गुजर गया। अब तय किया गया कि सोमवार से अवैध अपार्टमेंट ध्वस्त किया जाएगा। इसके लिए बाहर से विशेषज्ञों की टीम बुलाई गई है। उधर, एलडीए के प्रवर्तन दस्ते ने रविवार को फ्लैट में रह रहे तीन परिवारों को बेदखल कर दिया। बिल्डिंग टूटने की सूचना यहां फ्लैट खरीदने वाले दर्जनों परिवार मौके पर पहुंचकर विरोध जताने लगे। फ्लैट खरीदने वाले कह रहे थे कि उनसे जुर्माना ले लिया जाए लेकिन बिल्डिंग न तोड़ी जाए। बिल्डर ने लगभग 45 फ्लैट बनाए हैं। इनकी कीमत 50 लाख से लेकर एक करोड़ बताई जा रही है। एलडीए की कार्रवाई शुरू हुई तो बिल्डर ने आनन-फानन 45 में 36 फ्लैटों की रजिस्ट्री भी कर डाली। दोषी पाए गए 8 इंजीनियर और अफसरों के खिलाफ कार्रवाई शासन नें लंबित है।

यजदान बिल्डर ने प्राग नारायण रोड पर नक्शे के विपरीत अवैध तरीके से काफी बड़ा अपार्टमेंट बना लिया है। नक्शा पास होने से पहले उसने बिल्डिंग खड़ी कर ली। कई लोगों को फ्लैट भी बेच दिये। बाद में एलडीए ने इस बिल्डिंग को ध्वस्त कराने का आदेश पारित किया था। करीब छह महीने पहले इस बिल्डिंग का कुछ हिस्सा तोड़ा भी गया था। बिल्डिंग तोड़ने में काफी कठिनाई आ रही थी। ऐसे में प्राधिकरण ने इसे तोड़ने के लिए डायनामाइट के इस्तेमाल का भी प्रस्ताव बनाया था। बाद में शासन ने इसके लिए मना कर दिया। फिर इसे गिरवाने के लिए प्राधिकरण ने टेंडर कराया। एक कंपनी को इसे तोड़ने का टेंडर दिया गया है।

आठ इंजीनियरों पर कार्रवाई लंबित पड़ी:
यजदान बिल्डर की अवैध बिल्डिंग बनवाने के मामले में भी 8 इंजीनियर तथा अफसर दोषी हैं। प्रवर्तन प्रभारी, विहित प्राधिकारी, एई तथा जेई समेत 8 लोग इस मामले में दोषी बताए गए हैं। जिनके खिलाफ कार्रवाई के लिए शासन को रिपोर्ट भेजी गई है लेकिन अभी तक कोई निर्णय

नहीं हुआ।60 करोड़ की जमीन:
यजदान बिल्डर ने जिस जगह अपार्टमेंट बनाया है उस जमीन का आवंटन प्राधिकरण ने एक व्यक्ति के नाम किया था लेकिन उसने फ्री होल्ड नहीं कराया था। इस बीच बिल्डर ने जमीन खरीद ली। नक्शा पास करने के लिए एलडीए में जमा किया था। 2016 में नक्शा निरस्त हो गया,क्योंकि नजूल की एनओसी नहीं मिली थी। इस जमीन की वर्तमान कीमत 60 करोड़ रुपए है।

एलडीए और बिल्डर के भ्रष्टाचार की सजा हमें न दें:
कार्रवाई की आहट पर बिल्डर ने अपार्टमेंट में कई खरीदारों को कब्जा करा दिया। जबकि छह महीने पहले जब बिल्डिंग तोड़ी जा रही थी तो इसमें कोई कब्जा नहीं था। प्राधिकरण का दस्ता रविवार को इन्हीं लोगों को खाली कराने मौके पर पहुंचा। बड़ी संख्या में पुलिस बल भी साथ में था। लोग फ्लैट खाली करने को तैयार नहीं है। खरीदार पत्नी और बच्चों के साथ यहां डट गए। लोगों का कहना है कि जीवन की गाढ़ी कमाई इसमें लगी हुई है। एलडीए और बिल्डर के भ्रष्टाचार की सजा हमें क्यों दी जा रही। प्राधिकरण को जुर्माना लेकर इसे नियमित कर दे।