केन्द्र द्वारा किसान को मिलने वाली सब्सिडी को ग्रामीण बैंक ने डकारा

रिपोर्ट : नफीस अहमद ,रीडर टाइम्स 

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बिलग्राम / हरदोई : जिस ग्रामीण बैंक आफ आर्यावर्त का उदय किसानों की खेती बाड़ी जैसी समस्याओं को सुलझाने और उनकी जरुरतों को पूरा करने के लिए हुआ था . उस से ये बैंक शायद भटकने लगी है . क्योंकि किसानों के बैंकों में चक्कर लगाने के बावजूद उनकी समस्याओं का समाधान करने में अधिकारी दिलचस्पी नहीं दिखाते हैं . ताजा मामला ग्रामीण बैंक आफ आर्यावर्त शाखा बिलग्राम का है. जहां से ग्राम रहुला निवासी मैकू खां पुत्र दिलावर खां ने सन 2012 में बैंक द्वारा ऋण पर मिलने वाले सोलर सिस्टम को लेने के लिए आवेदन किया था . जिस पर शाखा प्रबंधक ने सरकार द्वारा सब्सिडी मिलने की बात भी कही थी.

सौ वाट के सोलर सिस्टम के लिए  मैकू खां ने आवेदन किया परंतु शाखा में सौ वाट का सोलर सिस्टम न होने की वजह से चालिस वाट के दो सोलर उन्हें थमा दिए गए और ऋण खाता भी खोल दिया गया. जिसकी खाता संख्या 021577710000089 है . अब जैसे – तैसे कर के किसान मैकू ने उसमे पैसे जमा किए और सब्सिडी आने का इंतजार करने लगा . कुछ साल बाद सब्सिडी तो आई परंतु एक सोलर की आधी अधूरी ही आई . अधिकारियों से पता करने पर बताया गया कि आ जायेगी . पांच साल से ज्यादा बीत चुके हैं परंतु सब्सिडी का कोई अता पता नहीं और मैकू खां के सब्सिडी पाने के चक्कर में जूते घिस कर पैर में छाले पड़ गये हैं . अब भी वो सब्सिडी का पैसा छोड़कर बकाया पैसा लिये घूम रहे हैं.  कहते हैं कि साहब सब्सिडी लगा दो बाकी पैसा हमसे लेकर खाते को बंद कर दीजिए . लेकिन मैकू कहते हैं जिस साहब से कहो वो अपने हाथ खड़े कर देता है ऐसा लगता है कि इन्होंने ही सब्सिडी के पैसे डकार लिए हों .