गाजियाबाद – चेंजिंग रूम में सीसीटीवी , महंत के मोबाइल से कनेक्ट था कैमरा !

रीडर टाइम्स न्यूज़ डेस्क

  • चेंजिंग रूम में हिडन कैमरा मिलने के बाद महिला श्रद्धालुओं में डर का महौल हैं।
  • आशंका हैं कि उनका भी वीडियो न बना लिया हो पुलिस ने उन्हें आश्वस्त किया हैं।
  • धार्मिक स्थल का प्रमुख मुकेश गोस्वामी तीन दिन बाद भी पुलिस जकी गिरफ्तारी से बाहर हैं।
  • 320 लड़कियों के कपड़े बदलते हुए क्लिप मिले।
  • महंत ने प्राइवेट सिक्योरिटी गार्ड और गोताखोर रखे थे।

उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद जिले में पड़ने वाले मुरादनगर के एक मामला सामने आया था। मामला गंगनहर घाट परिसर यानी छोटा हरिद्वार में ममहिला चेंजिंग रूम में 4 फिट ऊपर सीसीटीवी कैमरा मिलने से हड़कप मंच गया। पिछले कुछ दिनों में यहाँ नहाने आई महिला श्रद्धालुओं में डर का महौल हैं। आंशका हैं कि कही उनका भी वीडियो ने बना लिया गया हो जिसे लेकर अब चौकाने वाला खुलासा हुआ हैं डायस्ल पुलिस को मामले में आरोपी महंत मुकेश गोस्वामी के फोन में गंगनहर घाट पर स्नान करने आई वीडियो को करीब 300 से अधिक वीडियो फुटेज मिली हैं। इसे लेकर कुछ लोगो ने पुलिस से संपर्क भी साधा हैं। पुलिस ने उन्हें भरोसा दिलाया कि ऐसा कुछ नहीं हैं। तीन दिन बाद भी पुलिस कि गिरफ्त से बाहर हैं।

यहाँ दिल्ली ,हरियाणा ,राजस्थान ,से श्रद्धालुओं प्राचीन शानि मंदिर में पूजा करने आते हैं। अमावस्या और पूर्णिमा पर लोग स्नान करने उमड़ते हैं। 21 मई को एक महिला अपनी बेटी के साथ स्नान करने आई थी। दो दिन बाद महिला को पता चला कि बिना छत के बने चेंजिंग रूम में ऊपर सीसीटीवी कैमरा लगा हैं। जिसमे उनका वीडियो रिकॉर्ड हुआ और जब इस संबंध में वह मुकेश गिरी से मिलने गई और विरोध किया तो आरोपी महंत ने उसने महिला के साथ अभद्रता की और जान से मारने की धमकी दी। इसके बाद उन्होंने पुलिस से शिकायत की मामले की गंभीरता को देखते हुए। पुलिस तत्काल एक्शन में आई पुलिस ने जब इसकी जांच की तो इस चेंजिंग रूम के पांच दिन का डेटा मिला हैं। जिसमे महिलाओ के कपडे बदलने के वीडियो मिले हैं। पुलिस को पता चला की ये सीसीटीवी काफी समय से यहाँ लगा हुआ था। लेकिन जैसे ही खुलासा हुआ आरोपी मंहत मौके से फरार हो गया।

पहले भी लगे थे गंभीर आरोप – 2018 में मंदिर के घाट पर तैनात गोताखोरों पर गहने के लालच में महिलाओ को डुबाकर मारने के आरोप लगे थे। कि नहाते समय महिलाओ के पैर पकड़कर गोताखोर उन्हें गहरे पानी में खींच लेते हैं। मर जाने पर शव को पत्थर से बांध देते हैं। इस दौरान उनके गहने भी उतार लेते हैं। यही नहीं बाद में शव खोजने के बहाने परिवार से मोती रकम भी वसूली जाती हैं उस समय भी यहाँ के मंदिर का संचालन मुकेश गोस्वामी ही था। जिसने विधायक के आरोपों को नकार दिया था।